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  1. रसखान (जन्म:1548 ई) कृष्ण भक्त मुस्लिम कवि थे। [1] उनका जन्म पिहानी, भारत में हुआ था। हिन्दी के कृष्ण भक्त तथा रीतिकालीन रीतिमुक्त कवियों में रसखान का अत्यंत महत्त्वपूर्ण स्थान है। वे विट्ठलनाथ के शिष्य थे एवं वल्लभ संप्रदाय के सदस्य थे। रसखान को 'रस की खान' कहा गया है। इनके काव्य में भक्ति, शृंगार रस दोनों प्रधानता से मिलते हैं। रसखान कृष्ण भक्...

  2. रसखान एक मुस्लिम कवि थे परन्तु कृष्ण भक्ति में उनका अनन्य अनुराग था. इस पृष्ठ में उनका जन्म, परिवार, शिक्षा, कविता, मृत्यु और उनकी रचनाएँ की समालोचन की

  3. Nov 8, 2019 · कवि रसखान (Raskhan Hindi) कृष्ण के भक्त थे और प्रभु श्रीकृष्ण के सगुण और निर्गुण निराकार रूप के उपासक थे। रसखान ने कृष्ण की सगुण रूप की लीलाओं का बहुत ही खूबसूरत वर्णन किया है.

  4. कृष्णकाव्य धारा / By केवल कृष्ण घोड़ेला. आज की पोस्ट में हम ’रसखान के सवैये’ (Raskhan ke Savaiye) को पढेंगे। रसखान के उन महत्त्वपूूर्ण सवैयों को ...

  5. Raskhan Biography in Hindi : प्रस्तुत लेख में कवि रसखान का जीवन परिचय, साहित्यिक परिचय और रसखान की प्रमुख रचनाओं के बारे में बताया गया है।

  6. रसखान सगुण काव्यधारा की कृष्णाश्रयी शाखा के मुस्लिम कवि थे। हिंदी-साहित्य में रीतिकालीन रीतिमुक्त कवियों में रसखान का महत्वपूर्ण स्थान है। इन्होंने अपनी काव्य-रचनाओं में ईश्वर के निर्गुण व सगुण दोनों ही रूपों का वर्णन अत्यधिक सुंदर रूप से किया है। डॉ० राजेश्वर प्रसाद चतुर्वेदी के शब्दों में, ‘‘ रसखान भक्तिकाल के सुप्रसिद्ध लोकप्रिय एवं सरस कवि थ...

  7. Raskhan Ka Jivan Parichay : रसखान हिंदी साहित्य के इतिहास में भक्तिकाल काव्य धारा के प्रमुख कवि हैं। वे स्वछंद वृति के प्रेमोन्मत्त कृष्ण भक्त कवि थे। उन्होंने न तो किसी संप्रदाय से बँधकर कृष्ण भक्ति की और न किसी उद्देश्य से प्रेरित होकर काव्य रचना की। वहीं उनके काव्य में कृष्ण की रूप माधुरी, राधा-कृष्ण की प्रेम लीला व ब्रज-महिमा का मनोहर वर्णन ...